Saturday, 6 September 2008
मेरा नया ब्लॉग है यह
साथियों, यह मेरा नया ब्लॉग है। वैसे इस ब्लॉग दुनिया में मैं ज्यादा पुराना नहीं हूं। कुछ समय पूर्व ही मैंने आपके बीच 'दक्षिण भारत' शीर्षक से प्रवेश किया है। 'दक्षिण भारत राष्ट्रमत' नामक बारह पृष्ठीय हिन्दी अखबार बेंगलूर से पिछले तीन वर्षों से हम निकाल रहे हैं, जो कि यहां काफी लोकप्रिय है। इस अखबार को हिन्दी भाषी ही नहीं, अहिन्दीभाषी हिन्दी प्रेमी भी चाव से पढ़ते हैं। मुझे लगा कि इस ब्लॉग में दक्षिण भारत से संबंधित रोचक समाचार, उपयोगी लेख आदि सामग्री दी जाए और मैं अपना अलग ब्लॉग बना लूं ताकि मेरी स्वयं की रचनाएं उसमें दे सकूं। यही सोचकर shreekantparashar.blogspot.com नामक यक ब्लॉक बनाया है। मुझे आशा है कि मेरे ब्लॉग की तरह इसे भी अपनाएंगे, अपनी प्रतिक्रियाएं देकर प्रोत्साहित करेंगे। में यहां बेंगलूर में लगभग 30 वर्ष पहले आया। उस समय और आज के समय में क्या अंतर आ गया है। अनेक रोचक संस्मरण और बातें आपके साथ बांटूंगा।
Comments:
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ह्रदय से स्वागत है इस पहल का.
आपके अनुभव और संस्मरण से
आँखों देखी सांच का लाभ मिलेगा.
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डॉ.चन्द्रकुमार जैन
आपके अनुभव और संस्मरण से
आँखों देखी सांच का लाभ मिलेगा.
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डॉ.चन्द्रकुमार जैन
स्वागत है जनाब,....नियमित लिखें..शुभकामनाऐं.
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निवेदन
आप लिखते हैं, अपने ब्लॉग पर छापते हैं. आप चाहते हैं लोग आपको पढ़ें और आपको बतायें कि उनकी प्रतिक्रिया क्या है.
ऐसा ही सब चाहते हैं.
कृप्या दूसरों को पढ़ने और टिप्पणी कर अपनी प्रतिक्रिया देने में संकोच न करें.
हिन्दी चिट्ठाकारी को सुदृण बनाने एवं उसके प्रसार-प्रचार के लिए यह कदम अति महत्वपूर्ण है, इसमें अपना भरसक योगदान करें.
-समीर लाल
-उड़न तश्तरी
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आप लिखते हैं, अपने ब्लॉग पर छापते हैं. आप चाहते हैं लोग आपको पढ़ें और आपको बतायें कि उनकी प्रतिक्रिया क्या है.
ऐसा ही सब चाहते हैं.
कृप्या दूसरों को पढ़ने और टिप्पणी कर अपनी प्रतिक्रिया देने में संकोच न करें.
हिन्दी चिट्ठाकारी को सुदृण बनाने एवं उसके प्रसार-प्रचार के लिए यह कदम अति महत्वपूर्ण है, इसमें अपना भरसक योगदान करें.
-समीर लाल
-उड़न तश्तरी
ब्लागजगत में हार्दिक स्वागत !!
-- शास्त्री जे सी फिलिप
-- हिन्दी चिट्ठाकारी के विकास के लिये जरूरी है कि हम सब अपनी टिप्पणियों से एक दूसरे को प्रोत्साहित करें
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